नागपुर के सुरेश भट्ट सभागार में 15 एवं 16 सितंबर को सांस्कृतिक कार्य संचालनालय महाराष्ट्र शासन ,दक्षिण मध्य क्षेत्र साँस्कृतिक केंद्र नागपुर एवं संस्कार भारती के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित आजादी के अमृत महोत्सव के समापन पर्व पर भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अनाम वीरों के योगदान पर आधारित बहुभाषिक,अखिल भारतीय नाट्य महोत्सव क्रांतिगाथा कार्यक्रम कुशलतापूर्वक संपन्न हुआ। सम्पूर्ण देश में प्रस्तुत हुए 75 नाटकों में से 12 नाटकों का चयन इस महोत्सव के लिए किया गया, जिसमें छत्तीसगढ़ के रंगमंडल नाट्य विभाग इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय खैरागढ़ के नाटक पहटिया का चयन किया गया। नाटक पहटिया की प्रस्तुति कार्यक्रम के भव्य उद्घाटन समारोह में दिनांक 15 सितंबर को नितीश भारद्वाज (कृष्ण) जी की गरिमामयी उपस्थिति में हुई। नाटक की प्रस्तुति के पश्चात नीतीश भारद्वाज ने सभी कलाकारों को सम्मानित किया तथा उनकी प्रस्तुति हेतु बधाई देते हुए संगीत पक्ष तथा अभिनय की सराहना की। नाटक का निर्देशन नाट्य विभाग इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय खैरागढ़ के विभागाध्यक्ष डॉ.योगेंद्र चौबे ने किया, सह निर्देशक डॉ चैतन्य आठले घनश्याम साहू थे।संगीत संयोजन हितेंद्र वर्मा ने किया इनके सहयोगी भुनेश्वर यादव,जानेश्वर टांडिया,राममिलन थे।गीत गायन डॉ.परमानंद पांडे ने किया तथा अभिनय में डॉ.चैतन्य आठले,चंद्रहास बघेल,सोमनाथ साहू,रोहित श्रीवास्तव,शनिदेव,तन्मय शर्मा,विकास गायकवाड़,हिमांशु कुमार,भारती जंघेल,मोनिका साहू,जया निर्मालकर,अतुल गोंडाने ने सराहनीय कार्य किया। उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ का प्रतिनिधित्व करने हेतु दक्षिण मध्य क्षेत्र संस्कृतिक केंद्र नागपुर का विशेष सहयोग रहा l विश्विद्यालय की कुलपति पद्मश्री ममता चंद्राकर ने नाटक के निर्देशक एवं कलाकारों को अपनी बधाई प्रेषित की है l